Instructions: Write two essays, choosing one from each of the following Section A & B, in
about 1000-1200 words.
Total Marks: 250
Farming has lost the ability to be a source of subsistence for majority of farmers in India.
2. भारत में संग और राज्यों के बिच राजकोषीय संभंधो पर नए आर्थिक उपायों का प्रभाव ।
Impact of the new economic measures on fiscal ties between the union and states in India.
3. राष्ट्र भाग्य का स्वरुप - निर्माण उसकी कक्षाओं में होता है ।
Destiny of a nation is shaped in its classrooms.
4. क्या गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) एक बहुध्रुवी विश्व में अपनी प्रासंगिकता खो बैठा है ।
Has the Non- Alignment Movement(NAM) lost its relevance in a multipolar world.
1. हर्ष कृतज्ञता का सरलतम रूप है ।
Joy is the simplest form of gratitude.
2. भारत में 'नए युग की नारी 'की परिपूर्णता एक मिथक है ।
Fulfillment of ‘new woman’ in India is a myth.
3. हम मानवीय नियमो का तो साहसपूर्वक सामना कर सकते है परन्तु प्राकृतिक नियमो का प्रतिरोध नहीं कर सकते ।
We may brave human laws but cannot resist natural laws.
4. ' सोशल मीडिया ' अंतनिर्हित रूप से एक स्वार्थपरायण माध्यम है ।
Social media is inherently a selfish medium.
UPSC ESSAY PAPER 2017, IAS 2017 ESSAY PAPER, MAIN EXAM ESSAY PAPER 2017, 28/10/2017 ESSAY PAPER , TODAY ESSAY PAPER UPSC , UPSC ESSAY PAPER 28/10/2017
Total Marks: 250
Section – A
1. भारत में अधिकतर कृषको के लिए कृषि जीवन निर्वाह का एक सक्षम श्रोत नहीं रही है ।Farming has lost the ability to be a source of subsistence for majority of farmers in India.
2. भारत में संग और राज्यों के बिच राजकोषीय संभंधो पर नए आर्थिक उपायों का प्रभाव ।
Impact of the new economic measures on fiscal ties between the union and states in India.
3. राष्ट्र भाग्य का स्वरुप - निर्माण उसकी कक्षाओं में होता है ।
Destiny of a nation is shaped in its classrooms.
4. क्या गुटनिरपेक्ष आंदोलन (नाम) एक बहुध्रुवी विश्व में अपनी प्रासंगिकता खो बैठा है ।
Has the Non- Alignment Movement(NAM) lost its relevance in a multipolar world.
Section – B
1. हर्ष कृतज्ञता का सरलतम रूप है ।
Joy is the simplest form of gratitude.
2. भारत में 'नए युग की नारी 'की परिपूर्णता एक मिथक है ।
Fulfillment of ‘new woman’ in India is a myth.
3. हम मानवीय नियमो का तो साहसपूर्वक सामना कर सकते है परन्तु प्राकृतिक नियमो का प्रतिरोध नहीं कर सकते ।
We may brave human laws but cannot resist natural laws.
4. ' सोशल मीडिया ' अंतनिर्हित रूप से एक स्वार्थपरायण माध्यम है ।
Social media is inherently a selfish medium.
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